
उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) के हरदोई जिले में हैरान कर देने वाला मामला सामने आया है. जहां पर एक 9वीं क्लॉस की लड़की किताब के मामले क लेकर सीधे थाने पहुंच गई है. इस दौरान लड़की ने थानेदार से कहा कि उसने किताब में पढ़ा है कि उपभोक्ता के अधिकार होते हैं. ऐसे में लिहाजा उसको उसके अधिकार दिलाए जाएं. इस पर उसने कहा कि मुझे इंसाफ चाहिए. दरअसल, मामला किताब के ज्यादा पैसे लेने का था. जहां पर बच्ची दुकानदार के द्वारा किताब के ज्यादा रुपए लिए जाने को लेकर परेशान और रोती हुई नजर आ रही थी. इस पर थाना प्रभारी ने बच्ची को आश्वासन देते हुए महिला कॉन्स्टेबल को भेजकर उस लड़की के रुपए वापस दिलाए और उसको किताब दिलाई.
दरअसल, ये मामला हरदोई जिले के माधौगंज थाने का है. जहां पर एमएस पब्लिक स्कूल की एक 9 वीं क्लास की छात्रा संध्या रोते बिलखते थानें में चल रही जनसुनवाई में पहुंचती है. इस पर वहां मौजूद थाना प्रभारी ने जब उससे रोने का कारण पूछा तो उसने बताया कि दुकानदार ने किताब के ज्यादा रकम वसूल ली है. पीड़ित ने बताया कि अंकुर बुक डिपो से उसने फिजिक्स की किताब खरीदी थी जो दुकानदार ने 850 रुपए की दी, जबकि बाकी दुकानों पर वो किताब 765 रुपए की है, जब उसने दुकादार से कहा तो उसने न तो उसके रुपए लौटाए और न ही किताब दी. इस पर दुकानदार ने कहा कि वो जो चाहे कर ले लेकिन अब उसको किताब नहीं देगा.
थाना प्रभारी ने छात्रा के वापस करवाए रुपए
वहीं, इसके बाद संध्या रोते-बिलखते थाने पहुंची. संध्या ने बताया कि उसके पिता मजदूरी करके बड़ी मेहनत से उसे पढ़ा रहे है. इस दौरान उसकी चप्पल टूटी हुई है जिसे उसने 5 रुपए देकर जुड़वाया था. इसके बाद उसने कहा कि उसने किताब में पढ़ा है कि उपभोक्ता के अधिकार होते है उसको वो अधिकार दिलाए जाएं. इस मामले को संज्ञान में लेने के बाद थाना प्रभारी ने पूरे मामले को समझा और महिला कांस्टेबल को साथ संध्या को भेजकर उसके रुपए दिलाए. चूंकि, बच्ची गरीब परिवार से ताल्लुक रखती है. ऐसे में थाना प्रभारी ने पहले तो किताब के पैसे दिलाए, इसके बाद नई चप्पल औऱ ड्रेस खरीदकर भी दी.
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