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Corona अभी जिंदा है, इसे हल्के में ना लें..! आने वाला वेरिएंट और भी ज्यादा लोगों को पहुंचाएगा अस्पताल!

Corona New Variant

भारत में अब कोरोना वायरस को लेकर लोग अब बेफ्रिक हो चुके हैं, लेकिन कोरोना का संकट (Coronavirus Crisis) अभी भी बरकरार है. खास बात ये है कि ना सिर्फ अभी संकट बरकरार है, बल्कि स्थिति और भयावह हो सकती है. दरअसल, अभी एक्सपर्ट कोरोना के जिस वेरिएंट को लेकर बात कर रहे हैं, वो वेरिएंट अभी तक सबसे खतरनाक वेरिएंट (Corona New Variant) भी हो सकता है. बताया जा रहा है कि अब कोरोना के BA.5 ने अपने पांव पसारने शुरू कर दिए हैं और माना जा रहा है कि यह पिछले वेरिएंट के मुकाबले ज्यादा खतरनाक साबित हो सकता है. इस वेरिएंट की एंट्री ने बता दिया है कि अभी कोरोना का अंत निकट नहीं है.

ओमिक्रॉन के इस लेटेस्ट वर्जन को लेकर सीएनएन में छपी एक रिपोर्ट के अनुसार, यूरोप में ओमिक्रॉन का सबवेरिएंट लगातार बढ़ रहा है और इससे 25 फीसदी केस बढ़ सकते हैं. साथ ही केस लगातार बढ़ने के संभावना है. बताया जा रहा है कि BA.5 के लेपटे में चीन भी आ रही है और हालत इतनी खराब है कि वहां फिर से कोरोना को रोकने के लिए स्ट्रिक्ट लॉकडाउन का सहारा लिया जा सकता है. इसके साथ ही यह अमेरिका में भी टेंसन का कारण बढ़ रहा है, क्योंकि 65 फीसदी नए संक्रमित में यह पाया गया है. तो जानते हैं अगर ये वेरिएंट फैलता है तो किस तरह से खतरनाक हो सकता है.

इस रिपोर्ट में व्हाइट हाउस के कोविड-19 रेस्पॉन्स कॉ-ऑर्डिनेटर रहे डॉक्टर आशीष झा ने कहा है, ‘हम इस वायरस को तेजी से फैलते हुए देख रहे हैं. हम इस पल के लिए योजना बना रहे हैं और तैयार कर रहे हैं. मैं अमेरिका के लोगों को संदेश देना चाहता हूं कि बीए.5 पर खास तौर पर नजर बनाए हुए हैं और सबसे अहम बात ये है कि हम इसे रोकना जानते हैं.’

कितना खतरनाक है ये वेरिएंट?

अगर इस वेरिएंट के खतरनाक होने पर चर्चा करें तो Scripps Research के कार्डियोलॉजिस्ट एरिक तोपोन ने इस वेरिएंट को अभी तक का सबसे खराब वर्जन माना जा रहा है. उन्होंने हाल ही में एक न्यूजलेटर में बताया है कि यह पिछले वर्जन से काफी अलग है और इम्यून सिस्टम को खत्म कर देता है और यह काफी व्यापक है और इसके फैलने की शक्ति भी ज्यादा है.

जानिए वेरिएंट से जुड़ी खास बातें

  1. बीए.5 वैक्सीन और पहले भी हुए इंफेक्शन को आसानी से पार कर सकता है यानी ये सब होने के बाद भी लोगों में इस वेरिएंट के अटैक होने का खतरा रहता है.
  2. लेकिन, राहत की खबर ये है कि ये वेरिएंट अधिक गंभीर बीमारी का कारण नहीं बन पाता है. यानी इससे ज्यादा डरने की जरूरत नहीं है.
  3. डॉक्टर्स का कहना है कि बीए.5 के प्रभाव को देखते हुए यह अंदाजा लगाया जा सकता है कि इससे अस्पतालों में भर्ती होने वाले मरीजों की संख्या बढ़ सकती है. लेकिन, अच्छी बात ये है कि इस वेरिएंट में आईसीयू में भर्ती होने वाले मरीजों की संख्या काफी कम है, यह काफी ज्यादा खतरनाक नहीं है, लेकिन ये चिंताजनक मामला है.
  4. साथ ही इस रिपोर्ट में कहा गया है कि यह कितना खतरनाक है ये यूरोप की स्थिति से पता लगाया जा सकता है, क्योंकि वहां आईसीयू वाले मरीज कम हैं.
  5. डब्ल्यूएचओ के अधिकारियों ने भी कहा है कि इससे यूरोपीय देशों में अस्पताल में भर्ती होने वाले मरीजों की संख्या में बढ़ोतरी हो रही है. हालांकि, उनका कहना है कि आईयीयू में भर्ती होने वाले केसों की संख्या कम है.

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