हर देश की अपनी एक खुफिया एजेंसी होती है। इससे उस देश की सुरक्षा मजबूत होती है। ये खुफिया एजेंसी देश की कई खुफिया जानकारियां बाहर देशों में जाने से रोकती है और दूसरे देशों की सुरक्षा जानकारी इकट्ठा करती हैं। इससे देश के खतरे को समय रहते ही पता कर लिया जाता है और देश को सुरक्षित रखने में मदद मिलती है। भारत में भी इस तरह की अपनी एक खुफिया एजेंसी है। जिसका नाम है रॉ (RAW). रॉ का पूरा नाम रिसर्च एंड एनालिसिस विंग (Research and Analysis Wing) है। आपने कई फिल्मों में रॉ एजेंट को काम करते हुए देखा गया। अगर आप भी रॉ में करियर (Career in RAW) बनाना चाहते हैं तो आइए आपको बताते हैं कैसे रॉ में एंट्री मिलती है और क्या-क्या स्किल और एलिजिबिलिटी होनी चाहिए…
कौन बन सकता है रॉ एजेंट
रॉ के एजेंट ज्यादातर सिविल सर्विस या पुलिस विभाग से होते हैं। इन विभागों से ऐसे कर्मचारियों को चुना जाता है, जो काफी एक्टिव और मेंटली स्ट्रॉन्ग होते हैं। जिनका प्रसेंज ऑफ माइंड शॉर्प होता है। रॉ एजेंट को रक्षा और सुरक्षा के समय केंद्रीय खुफिया अधिकारी, आईपीएस ऑफिसर , सीआईडी अफसर के तौर पर काम करना पड़ता है।
ये स्किल भी जरूरी
अगर आप रॉ एजेंट बनना चाहते हैं तो आपके पास कुछ स्किल होनी चाहिए। जिसमें से मुख्य रूप से कंप्यूटर हैकिंग, किसी काम में स्पेशल स्किल, इंटरनेट में स्पीज और अनस्टारिंग जैसी स्किल में शानदार काम आना चाहिए। ऐसे लोगों को रॉ में काम करने का मौका मिल सकता है।
रॉ एजेंट बनने की एलिजिबिलिटी और सैलरी
रॉ में करियर बनाने के लिए किसी भी उम्मीदवार को मान्यता प्राप्त यूनिवर्सिटी से ग्रेजुएट या पोस्ट ग्रेजुएट होना अनिवार्य है। वैसे तो ये ज्यादातर पुलिस विभाग और सिविल सर्वेंट ही बनते हैं। अगर सैलरी की बात की जाए तो इनकी सैलरी कोई फिक्स नहीं होती है। फिर भी हर महीने लाखों रुपए तक सैलरी मिल जाती है।
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